धोखा खाने के बाद प्यार और प्रेमी को कैसे भुलाएँ

आज किसी के साथ समय दोस्ती करना और बाद में प्यार हो जाना तो एक आम बात है। लेकिन प्यार में बड़ी बड़ी क़समें खाना और बड़े बड़े वादा करना तो आज के लोगों के लिए बेहद आसान है। पर उस रिश्ते को निभाने और साथ लेकर चलने की सोच तो कुछ लोगों की होती है। इसलिए ज़रूरी है प्यार में धोखा खाने के बाद आप अपनी ज़िंदगी को रुकने न दें, क्योंकि आगे बढ़ने का नाम ही ज़िंदगी है।

धोखा खाने के बाद सम्भलिए

धोखा खाने के बाद प्यार को भुलाना

प्यार का पहला एहसास

जब दो अजनबी मिलते हैं तो छोटी सी मुलाक़ात भी दोस्ती का सबब बन जाती है। फिर बातों और मुलाक़ातों का सिलसिला शुरु हो जाता है। फिर एक दूसरे से छोटी छोटी बातें शेयर करने वाले दोस्त इतने नज़दीक़ आ जाते हैं कि साथ साथ कॉफी पीना और समय बिताना अच्छा लगने लगता है। धीरे धीरे वो दोनों रातों में देर तक बातें करते करते हैं और दोस्ती प्यार में बदल जाती है। जब प्यार का एहसास गहराने लगा, तब दोनों प्यार में पड़ जाता है। सच तो यही है – प्यार तो ऐसे ही होता है, बिना सोचे और बिना समझे।

धोखे का आभास

लेकिन ये ज़रूरी नहीं है कि दोनों में सच्चा प्यार ही हो। ये भी हो सकता है कि दोनों में से कोई एक टाइम पास के लिए प्यार के झूठे वादे कर रहा हो। झूठ कभी पर्दों में नहीं छिप सकता है इसलिए एक न एक दिन वह सामने आ ही जाता है। इसके बाद रिश्तों में दरार आ जाती है और रिश्ते टूट जाते हैं। रिश्ता जुड़ने में जितना ख़ुशी का एहसास नहीं होता है, उतना टूट हुए दिल का दर्द सज़ा देता है। किसी रिश्ते में जब विश्वास की डोर टूटती है तो बहुतों के लिए संभलना भी मुश्किल हो जाता है।

जब शरीर में कहीं कोई चोट लगती है तो उसका दर्द झेलना पड़ता है और उसकी दवाई भी करनी पड़ती है। घाव और उसका दर्द समय के साथ जाता रहता है। लेकिन चोट के निशान ताउम्र रहते हैं। वैसे ही प्यार में धोखे की चोट के निशान धड़कनों से कभी जुदा नहीं होते हैं।

पुरानी यादें मिटाना मुश्किल है

टूटे हुए रिश्ते की चुभन दिल की टीस बन जाती है। खुद को संभालना बहुत मुश्किल हो जाता है। प्यार में लड़का हो या फिर लड़की धोखा खाने के बाद दिल पर बहुत गहरी चोट लगती है। जिसके बाद किसी पर भी विश्वास करना बेहद मुश्किल हो जाता है।

जब प्यार में धोखा खाने वाला अकेलापन महसूस करता है, तो प्यार के साये में बीता हर एक पल जैसे साथ चाय पीना, खाना खाना, मीठी मीठी बातें करना, लड़ना झगड़ना, रूठना मनाना, प्यार का एहसास, हाथ थामना, पहला स्पर्श, पहला चुम्बन, रातों को जागना और हर नज़दीक़ी दिल के सन्नाटों में गूँजने लगती है।

ग़मों से निकलने की कोशिश

आपके लिए यह समझना ज़रूरी है कि जिसने आपको धोखा दिया है, वो आपकी चिंता नहीं करता है। इसलिए आपको भी उसके लिए अपनी संवेदना और समय नष्ट नहीं करनी चाहिए। जो किसी को धोखा देता है वो ज़रूर ही बहुत जल्दी नया पार्टनर ढूँढ लेता है। उसके साथ घूमता है, मस्ती करता है, पार्टी का आनंद लेता है और वही सब दोहराता है जो उसने आपके साथ किया था। इसलिए आप अपनी आँखें खोलिए और ज़िंदगी में आगे बढ़िए।

प्यार में धोखा खाने के बाद अपनी ज़िंदगी के किसी मोड़ पर रुक जाना, ख़ुद से ही नहीं बल्कि अपनों की ख़ुशियों को कम करना है। ऐसे भी उनके साथ समय बिताएँ जो आपकी फ़ैमली हैं, सच्चे दोस्त हैं।

जीवन नदी की धारा

जिसने आपका हाथ छोड़कर किसी और को अपना लिया, उसके लिए ज़िंदगी भर इंतज़ार करना अपने प्यार का अपमान करने जैसा है। व्यक्ति को पहले ख़ुद से और फिर दूसरे से प्यार करना चाहिए। अगर आप ख़ुद से प्यार करोगे तो दूसरे भी आप से प्यार करेंगे। क्योंकि हर किसी को ख़ुश मिजाज़ लोग पसंद होते हैं। दुखी से कोई दोस्ती नहीं करना चाहता है, सब उसे सहानुभूति देकर आगे बढ़ जाना चाहते हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि वे अपने ख़ुशी के पल बर्बाद नहीं करना चाहते हैं।

संक्षेप में कहूँ तो व्यक्ति को कभी भी शर्तों, क़समों और वादों वाले रिश्ते नहीं बनाने चाहिए जिससे आपके दिल में उम्मीदें जाग जाएँ और उनके पूरा न होने पर आप स्वयं को टूटा बिखरा हुआ महसूस करें। गीता में भी निष्काम प्रेम की बात कही गयी है। इसलिए जो आपसे प्रेम करता है, पहले उसे प्रेम कीजिए।

इस लेख को पढ़ने के बाद आप प्यार में धोखा खाने के बाद झूठे प्यार और प्रेमी को भुलाकर अपनी जीवन में नई ख़ुशियाँ हासिल करेंगे।

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