सोते हुए या एक ही मुद्रा में देर तक बैठे रहने से कभी-कभी शरीर के अंग सुन्न हो जाते हैं। आमतौर पर सोते हुए कोई बांह या पैर दब जाने से उसमें सुन्नता आ जाती है। यह मूलत: रक्त संचार में बाधा उत्पन्न होने से होता है। जो अंग सोते या बैठे हुए दब जाता है, वहां रक्त संचरण बाधित होता है और मांसपेशिया शिथिल हो जाती हैं तो वह अंग तत्काल काम करने की स्थिति में नहीं रहता। फिर थोड़ी देर बाद अपने आप सही हो जाता है।
आयुर्वेद के अनुसार वायु के कुपित होने से ऐसा होता है। जब शरीर के किसी विशेष भाग को पर्याप्त मात्रा में वायु की उपलब्धता नहीं होती तो रक्त संचरण में बाधा उत्पन्न होती है और वह शरीर के अंग सुन्न हो सकते हैं। सुन्न होने पर झनझनाहट होती है और लगता है कि सुई चुभ रही है। उस अंग को दबाने या चिकोटी काटने से भी कुछ पता नहीं चलता। लेकिन जैसे ही आप सोने या बैठने की वह मुद्रा बदलते हैं तो थोड़ी देर में उस अंग विशेष में रक्त संचरण अपनी गति में शुरू हो जाता है और सुन्नता समाप्त हो जाती है।

शरीर के अंग सुन्न पड़ने पर इलाज
– सुबह नित्य कर्म से निवृत्त होकर खाली पेट सोंठ व लहसनु की दो कली चबाकर पानी पी लेने से सुन्नता नहीं आती। यह प्रयोग आठ-दस दिन नियमित कर लेना चाहिए।
– शरीफा या पपीता के बीजों को पीसकर सरसों के तेल में मिलाकर मालिश करने से सुन्नता चली जाती है।
– पीपल के नए मुलायम पत्ते लें और उसे सरसो के तेल में डालकर पका लें। फिर पत्तों को फेंक दें और उस तेल से मालिक करने पर सुन्नता चली जाती है।
– तिली का तेल लें और उसमें एक चम्मच अजवायन व लहसुन की दो पुत्ती कुचलकर डाल दें। इसे पकाकर छान लें और किसी शीशी में भरकर रख लें। जब भी किसी अंग विशेष में सुन्नता आए तो इस तेल से मालिश करें।
– घर पर बादाम का तेल रखें, जब सुन्नता आए तो मालिश करें।
– समान मात्रा में सोंठ, पीपल व लहसुन मिलाकर पीस लें, यह लेप सुन्न हुए स्थान पर लगाने से लाभ होता है।
हाथ-पैर सुन्न पड़ने पर उपचार

– बादाम घिसकर लगाने से भी त्वचा की सुन्नता समाप्त हो जाती है।
– लाल इलायची व कालीमिर्च को पानी के साथ पीसकर त्वचा पर लगाने से भी लाभ होता है।
– सौ ग्राम नारियल का तेल लें और उसमें पांच ग्राम जायफल का चूर्ण मिलाएं। इसे सुन्न हुए अंग विशेष या त्वचा पर लगाने से लाभ होगा।
– एक गांठ शुंठी व एक गांठ लहसुन लें। इसे पीसकर पानी मिलाकर लेप बना लें और प्रभावित स्थान पर लगाएं। राहत मिलेगी।
– पैर की सुन्नता खत्म करने के लिए रात को सोते समय तलवों पर देशी घी की मालिश करें।
– चोपचीनी 5 ग्राम, पीपरामूल 2 ग्राम व मक्खन 4 ग्राम मिलाकर सुबह-शाम दूध के साथ सेवन करने से सुन्नता नहीं आती।
– समान मात्रा में बेल की जड़, पीपल व चित्रक लें, इसे आधा किलो दूध में खूब पकाएं और रात को सोते समय पी जाएं।
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