रतनजोत का उपयोग और फ़ायदे

रतनजोत _ Alkanna Tinctoria एक गुणकारी औषधि है, जिसको अंजनकेशी, रक्तदल, महारंगा, महारंगी, लालजड़ी और दामिनी बालछड़ आदि कई नामों से जाना जाता है। रतनजोत के बीज से तेल भी निकाला जाता है। जिसका उपयोग आँखों की रौशनी बढ़ाने, त्वचा का रूखापन दूर करने, दाद खाज और खुजली से छुटकारा दिलाने, पेट के कीड़ों को नष्ट करने, गुर्दे की पथरी से छुटकारा दिलाने और शरीर से ज़हरीले पदार्थों को दूर करने के लिए किया जाता है। रतनजोत का उपयोग बालों की कई समस्याओं जैसे बालों का झड़ना, बालों का सफेद होना आदि में किया जाता है। इसके अलावा रक्त के शोधन के लिए भी रतनजोत इस्तेमाल की जाती है।

रतनजोत का उपयोग
Ratanjot – Alkanna tinctoria uses and benefits

बालों की देखभाल में रतनजोत का उपयोग

1. अगर बालों में सुंदर कलर चाहते हैं तो इस उपाय को ज़रूर ट्राई करें- मेहँदी में थोड़ा पानी डालकर घोल बना लें। फिर इसमें थोड़ा रतनजोत डालकर मिला लें। अब इसे गैस चूल्हे पर चढ़ाकर थोड़ा गर्म कर लें। जब यह गर्म हो जाए तब गैस बंद करके इसे ठंडा कर लें। जब यह ठंडा हो जाए तब इस पेस्ट को बालों में लगा लें। लगभग 20 मिनट के बाद सिर को पानी से धो लें।
2. बालों को झड़ने से बचाने और इन्हें मजबूत बनाने के लिए 50 ग्राम दही में, एक चुटकी हल्दी पाउडर, एक ग्राम काली मिर्च पाउडर और थोड़ा रतनजोत डालकर इन सभी को आपस में मिलाकर एक मिश्रण बना लें। अब इस मिश्रण को सिर में लगा लें। लगभग 20 मिनट बाद सिर को हल्के गुनगुने पानी से धो लें। इस घरेलू उपचार को सप्ताह में कम से कम एक बार ज़रूर ट्राई करें।
3. 4 चम्मच आंवला चूर्ण में 1 चम्मच नींबू का रस और रतनजोत डालकर तैयार मिश्रण को बालों में लगा लें। लगभग 20 मिनट बाद सिर को धो लें। ऐसा करने से बाल काले हो जाते हैं।
4. रतनजोत का उपयोग करने के साथ-साथ आंवला और लौह चूर्ण को थोड़ा पानी डालकर पेस्ट बना लें। इस पेस्ट को बालो में लगा लें और कुछ समय बाद सिर को धो लें। ऐसा सप्ताह में दो बार करने से सफेद बाल काले हो जाते हैं।

रतनजोत की जड़
Ratanjot roots

रतनजोत के फ़ायदे

– अगर आप गठिया रोग से परेशान है तो सरसों के तेल में रतनजोत डालकर हल्का गुनगुना करके इस तेल से मालिश करें। इससे गठिया रोग में बेहद आराम मिलेगा।
रतनजोत पौधे के पत्ते को पीसकर इसके रस को शहद के साथ मिलाकर चाटने से रक्त का शोधन होता है।
– जिन लोगों को मिर्गी के दौरे पड़ते हों अगर वे लोग रतनजोत पौधे की जड़ को पीसकर इसके रस को नाक में टपका लें। इस उपचार को लगातार करने से मिर्गी के दौरे की समस्या दूर हो जाती है।
– रतनजोत पौधे की पत्तियों को पानी में उबालकर चाय बनाकर पीने से हार्ट प्रॉब्लम व कई अन्य समस्याओं से बचे रहते हैं।
रतनजोत के चूर्ण को तेल में मिलाकर मालिश करने से त्वचा का रूखापन दूर हो जाता है। इसके अलावा इसके उपयोग से दाद और खुजली से भी छुटकारा मिल जाता है।
– अगर किसी व्यक्ति को गुर्दे में पथरी की समस्या है तो उसे नियमित रूप से रतनजोत के पत्तों का काढ़ा बनाकर पिलाएँ। इस उपचार को करने से पथरी ठीक हो जाती है।

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