गर्भपात के बाद गर्भधारण कब करना चाहिए

विवाहित जीवन शुरु करने के बाद घर में नन्हा मेहमान ख़ुशियाँ लेकर आता है। लेकिन कुछ नवविवाहितों के लिए अनचाहा गर्भ तनाव का कारण हो सकता है। यूँ तो गर्भपात एक ग़लत क़दम माना जाता है लेकिन जो दम्पत्ति अभी नए मेहमान की पूरी जिम्मेदारी उठाने में असक्षम होते हैं, उनके लिए यह तनाव मुक्ती का एक विकल्प बन जाता है। क्या आप भी उनमें से एक हैं जो गर्भपात के बाद गर्भधारण कब करें, इस बारे में जानकारी चाहते हैं? बहुत से लोग इस बात को लेकर भ्रमित रहते हैं। आइए इसके पीछे के वैज्ञानिक सच जानें।

गर्भपात के बाद गर्भधारण कब करें

 

गर्भपात के बाद गर्भधारण कब

किसी भी वजह से गर्भपात होने या कराने के बाद कोई भी महिला जीवन में दुबारा गर्भपात नहीं करवाना चाहेगी। सामान्य परिस्थितियों और सही समय पर कराया गया गर्भपात बांझपन का कारण नहीं बनता है। गर्भपात कराने की अपेक्षा गर्भधारण करने से बचना कहीं अधिक श्रेष्ठ होता है। इसके लिए विवाहित दम्पत्ति डॉक्टर की सलाह से गर्भ निधोरक उपाय अपना सकते हैं। गर्भपात होने के कुछ महीनों बाद अगर कोई महिला गर्भधारण करके नन्हा मेहमान घर लाना चाहे तो उसमें कोई समस्या नहीं आती है।

कितना समय दें

गर्भपात के बाद गर्भवती होने की इच्छा रखने वाली महिलाओं को कम से कम तीन महीने का इंतज़ार करना चाहिए। इतने समय में वे अपने शरीर में क्षय हुए फ़ोलिक एसिड और शरीरिक शक्ति को बढ़ा सकती हैं। इस समय में गर्भपात के बाद बनें थाइराइड व इंसुलिन की जाँच भी की जा सकती है।

आपके लिए यह जानना आवश्यक है कि महिला का शरीर गर्भपात के एक हफ़्ते बाद ही अंडोत्सर्ग करने लगता है। जिसके कारण गर्भ निरोधक उपाय न करने से गर्भधारण की सम्भावना बनी रहती है। डॉक्टरी सलाह के अनुसार शरीर में पहले सी शक्ति और तंदुरुस्ती आने में कुछ महीनों का टाइम लग सकता है। आवश्यक समझें तो गर्भपात के बाद गर्भधारण डॉक्टरी सलाह लेकर ही करें।

लगभग 80% गर्भपात के लिए गुणसूत्र विपथन उत्तरदायी होता है और शुक्राणु को परिवर्तित होने में ढाई महीने का टाइम लगता है। इसलिए आप समझदारी दिखाएँ और सही समय की प्रतीक्षा करें।

क्या संकट हैं?

कुछ कहा नहीं जा सकता है कि पहले गर्भपात के बाद गर्भवती होने के कुछ ही हफ़्तों में दूसरा गर्भपात सुरक्षित होगा या नहीं। लेकिन यह बात तो पक्की है कि शरीर में पोषक तत्त्वों की कमी हो ही जाती है। गर्भपात के कुछ हफ़्तों बाद ही गर्भ धारण करना न समझी साबित हो सकता है। गर्भपात के बाद शरीर में हुई कमियों को सुधारने और सेहत को दुरुस्त करने के लिए पूरा समय देना आवश्यक है।

सही समय की जाँच

आपके लिए यह जानकारी नई हो सकती है कि गर्भपात के पश्चात्‌ भी कुछ महीनों तक आपका प्रेग्नेंसी टेस्ट पॉज़ीटिव आ सकता है। जिसका अर्थ है कि आपकी प्रेग्नेंसी टेस्ट किट पर गुलाबी रंग की दो लाइनें स्पष्ट दिखेंगी। ऐसा गर्भावस्था के हार्मोन बढ़ जाने के कारण होता है। अगर आपको दुबारा गर्भधारण करना है तो आपको तब तक इंतिज़ार करना चाहिए, जब तक आपका प्रेगनेंसी टेस्ट निगेटिव न आ जाए। जब आपकी प्रेगनेंसी टेस्ट में गुलाबी लाइनें हल्की हो जाएँ तो आपको समझना चाहिए कि दूसरी प्रेगनेंसी के लिए सही समय आ गया है।

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